पंजाब के मुख्यमंत्री भगवंत मान ने गुरुवार, 19 दिसंबर को केंद्र सरकार से किसानों की न्यूनतम समर्थन मूल्य (एमएसपी) की कानूनी गारंटी की मांग पर अपनी “हठ” छोड़ने और बातचीत का रास्ता अपनाने की अपील की। मुख्यमंत्री मान ने कहा कि किसानों से बात करना केंद्र का कर्तव्य है और हर समस्या का समाधान केवल संवाद से ही संभव है।
केंद्र सरकार को दी सलाह
मुख्यमंत्री भगवंत मान ने सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म ‘एक्स’ पर पोस्ट करते हुए कहा, “किसानों से बात करना केंद्र सरकार का कर्तव्य है। किसी भी समस्या का समाधान केवल बातचीत के जरिए ही निकाला जा सकता है। केंद्र सरकार को अपनी हठधर्मिता छोड़नी चाहिए और किसानों की समस्याओं का हल निकालना चाहिए।”
किसानों का प्रदर्शन और दिल्ली कूच
किसान दिल्ली कूच करने की योजना बना रहे थे, लेकिन सुरक्षाबलों ने उन्हें रोक दिया। इसके बाद किसान संगठनों, संयुक्त किसान मोर्चा (गैर-राजनीतिक) और किसान मजदूर मोर्चा के नेतृत्व में 13 दिसंबर से पंजाब और हरियाणा के बीच शंभू और खनौरी बॉर्डर पर धरना दे रहे हैं।
किसान नेता जगजीत सिंह डल्लेवाल ने 26 नवंबर से खनौरी बॉर्डर पर भूख हड़ताल शुरू कर दी है। उन्होंने केंद्र सरकार पर किसानों की मांगें मानने का दबाव बनाने के लिए यह कदम उठाया। 6 से 14 दिसंबर के बीच, 101 किसानों का एक जत्था तीन बार पैदल दिल्ली कूच करने का प्रयास कर चुका है, लेकिन हरियाणा में सुरक्षाबलों ने उन्हें आगे बढ़ने से रोक दिया।
हरियाणा सरकार का बयान
हरियाणा के मुख्यमंत्री और बीजेपी नेता नायब सिंह सैनी ने कहा कि पंजाब सरकार को अपने किसानों से बातचीत कर उनकी समस्याओं का समाधान करना चाहिए। उन्होंने कहा, “हरियाणा में किसानों की सभी फसलों की खरीद न्यूनतम समर्थन मूल्य (एमएसपी) पर हो रही है। पंजाब सरकार को भी किसानों से एमएसपी पर फसल खरीदने का फैसला करना चाहिए।”
सैनी ने कहा कि पंजाब सरकार को किसानों की समस्याओं को हल करने के लिए ठोस कदम उठाने चाहिए। उन्होंने सुझाव दिया कि पंजाब सरकार को घोषणा करनी चाहिए कि वह सभी फसलों की खरीद एमएसपी पर करेगी, ताकि किसानों को कोई परेशानी न हो।
किसानों की मांगें और समाधान की राह
पंजाब और हरियाणा के किसानों का मुख्य मुद्दा एमएसपी की कानूनी गारंटी है। इसके अलावा, किसान केंद्र सरकार से उनकी अन्य मांगों को भी मानने का आग्रह कर रहे हैं। किसान संगठनों का कहना है कि सरकार को उनकी मांगों को गंभीरता से लेना चाहिए और जल्द से जल्द समाधान निकालना चाहिए।
मुख्यमंत्री भगवंत मान की अपील और किसानों के प्रदर्शन के बीच, केंद्र सरकार की प्रतिक्रिया और आगे की रणनीति पर सभी की नजरें टिकी हैं। किसानों का कहना है कि जब तक उनकी मांगें पूरी नहीं होतीं, उनका प्रदर्शन जारी रहेगा।