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नई दिल्ली/वाशिंगटन: प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और अमेरिका के पूर्व राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप की द्विपक्षीय वार्ता के बाद हुई संयुक्त प्रेस कॉन्फ्रेंस में अवैध प्रवासियों का मुद्दा चर्चा का प्रमुख विषय बना। इस दौरान पीएम मोदी ने स्पष्ट किया कि भारत उन नागरिकों को वापस लेने के लिए पूरी तरह तैयार है, जो अवैध रूप से अमेरिका में रह रहे हैं।
अवैध प्रवासियों के लिए कोई जगह नहीं
संयुक्त प्रेस कॉन्फ्रेंस के दौरान एक पत्रकार के सवाल का जवाब देते हुए प्रधानमंत्री मोदी ने कहा कि जो लोग अवैध रूप से दूसरे देशों में रह रहे हैं, उन्हें वहां रहने का कोई कानूनी अधिकार नहीं है। उन्होंने जोर देकर कहा कि यह सिर्फ अमेरिका ही नहीं, बल्कि सभी देशों के लिए एक गंभीर मुद्दा है और इस पर सख्त कदम उठाने की जरूरत है।
पीएम मोदी ने कहा, “जहां तक भारत और अमेरिका का सवाल है, हमने हमेशा स्पष्ट किया है कि जो लोग सत्यापित भारतीय नागरिक हैं और अवैध रूप से अमेरिका में रह रहे हैं, भारत उन्हें वापस लेने के लिए तैयार है।”
मानव तस्करी पर रोक जरूरी
प्रधानमंत्री मोदी ने इस अवसर पर मानव तस्करी के पारिस्थितिकी तंत्र को खत्म करने की आवश्यकता पर भी जोर दिया। उन्होंने विश्वास जताया कि राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप इस दिशा में भारत का पूरा सहयोग करेंगे। मोदी ने कहा कि अवैध प्रवास केवल आर्थिक समस्या नहीं है, बल्कि यह मानव तस्करी, अपराध और शोषण से भी जुड़ा हुआ है। इसलिए, इस समस्या को जड़ से खत्म करना बेहद जरूरी है।
भारत का स्पष्ट रुख
भारत का हमेशा से स्पष्ट रुख रहा है कि वह अपने नागरिकों की जिम्मेदारी लेने से पीछे नहीं हटेगा। पीएम मोदी ने दोहराया कि अगर कोई भारतीय नागरिक अवैध रूप से किसी अन्य देश में रहता है और उसकी पहचान सत्यापित होती है, तो भारत उसे वापस लेने के लिए तैयार है। उन्होंने यह भी कहा कि भारत और अमेरिका इस मुद्दे पर मिलकर काम करेंगे ताकि अवैध प्रवास और मानव तस्करी जैसी समस्याओं को रोका जा सके।
भारत-अमेरिका संबंधों पर असर?
पीएम मोदी के इस बयान के बाद सवाल उठ रहे हैं कि इससे भारत और अमेरिका के संबंधों पर क्या प्रभाव पड़ेगा? विशेषज्ञों का मानना है कि दोनों देश इस विषय पर पहले से ही बातचीत कर रहे हैं और यह बयान द्विपक्षीय संबंधों को और मजबूत करेगा। अमेरिका लंबे समय से अवैध प्रवासियों पर सख्ती दिखा रहा है और भारत की यह नीति अमेरिका के रुख के अनुरूप ही है।
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी का यह बयान दर्शाता है कि भारत जिम्मेदार राष्ट्र के रूप में अपने नागरिकों की जिम्मेदारी लेने को तैयार है। साथ ही, यह भी स्पष्ट है कि अवैध प्रवास के मुद्दे पर भारत और अमेरिका मिलकर काम करेंगे, जिससे न केवल दोनों देशों को फायदा होगा, बल्कि मानव तस्करी जैसे अपराधों पर भी लगाम लगेगी।