
अमेरिका के पूर्व राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप एक बार फिर जन्म से नागरिकता (Birthright Citizenship) के मुद्दे को लेकर चर्चा में हैं। उन्होंने सुप्रीम कोर्ट में अपील की है कि उनके राष्ट्रपति कार्यकाल में किए गए नए नागरिकता आदेश पर फिर से विचार किया जाए। ट्रंप प्रशासन ने कोर्ट से अनुरोध किया है कि जब तक इस पर अंतिम फैसला नहीं आता, तब तक जन्म से नागरिकता के नियमों पर आंशिक रोक लगाई जाए।
क्या है मामला?
डोनाल्ड ट्रंप ने 20 जनवरी को एक कार्यकारी आदेश (Executive Order) पर हस्ताक्षर किए थे, जिसमें उन बच्चों को अमेरिकी नागरिकता देने से इनकार करने का निर्देश था, जिनके माता-पिता में से कम से कम एक अमेरिकी नागरिक या स्थायी निवासी नहीं है। यह आदेश 19 फरवरी से लागू होने वाला था, लेकिन इसे देशभर में कई संघीय अदालतों (Federal Courts) ने रोक दिया।
ट्रंप प्रशासन ने क्यों दी सुप्रीम कोर्ट में अर्जी?
ट्रंप प्रशासन ने सुप्रीम कोर्ट से अपील की है कि मैरीलैंड, मैसाचुसेट्स और वॉशिंगटन की संघीय अदालतों के उन आदेशों को रद्द किया जाए, जिन्होंने उनके नागरिकता नियमों पर रोक लगाई थी।
14वें संशोधन का उल्लंघन?
इस आदेश के खिलाफ दो दर्जन से अधिक अमेरिकी राज्यों, कई संगठनों और नागरिकों ने मुकदमे दायर किए हैं। उनका कहना है कि यह आदेश अमेरिका के संविधान के 14वें संशोधन (14th Amendment) का उल्लंघन करता है।
क्या कहता है 14वां संशोधन?
संविधान का 14वां संशोधन कहता है कि अमेरिका में जन्म लेने वाला हर व्यक्ति स्वाभाविक रूप से अमेरिकी नागरिक होता है, चाहे उसके माता-पिता की नागरिकता कुछ भी हो।
ट्रंप के इस आदेश के विरोध में कई डेमोक्रेटिक स्टेट अटॉर्नी जनरल, प्रवासी अधिकार संगठनों और गर्भवती महिलाओं ने कोर्ट में केस किया है। उनका तर्क है कि यह फैसला अमेरिकी मूल्यों के खिलाफ है और लाखों प्रवासी परिवारों को प्रभावित करेगा।
ट्रंप प्रशासन की दलील
ट्रंप प्रशासन का कहना है कि जन्म से नागरिकता का नियम गलत तरीके से लागू किया जा रहा है और इसे सीमित करने की जरूरत है। उनके मुताबिक, यह कानून केवल उन बच्चों के लिए होना चाहिए, जिनके माता-पिता अमेरिकी नागरिकता के योग्य हैं।
ट्रंप प्रशासन ने इसे अपनी व्यापक इमिग्रेशन (प्रवासन) नीति का हिस्सा बताया है, जिसमें—
- अमेरिका-मैक्सिको सीमा पर सुरक्षा बढ़ाना
- अवैध प्रवासियों पर कड़े प्रतिबंध लगाना
- शरण के नियमों को सख्त करना
शामिल हैं।
क्या सुप्रीम कोर्ट से मिलेगी ट्रंप को राहत?
फिलहाल, तीन संघीय अदालतें इस आदेश को गैरकानूनी करार दे चुकी हैं। अब मामला अमेरिकी सुप्रीम कोर्ट में पहुंच चुका है। अगर सुप्रीम कोर्ट ट्रंप प्रशासन के पक्ष में फैसला सुनाती है, तो अमेरिका में जन्म लेने वाले बच्चों की नागरिकता के नियमों में बदलाव हो सकता है।
क्या होगा आगे?
यह मुद्दा अमेरिका में बड़ा राजनीतिक और कानूनी विवाद बन चुका है। अगर सुप्रीम कोर्ट ट्रंप के आदेश को बरकरार रखती है, तो लाखों प्रवासी परिवार प्रभावित हो सकते हैं। लेकिन अगर कोर्ट इसे असंवैधानिक मानती है, तो अमेरिका में जन्म लेने वाले सभी बच्चों को नागरिकता मिलती रहेगी, जैसा कि पहले से होता आया है।
अब सबकी नजर सुप्रीम कोर्ट के फैसले पर है, जो यह तय करेगा कि अमेरिका में जन्म लेने वाले बच्चों का भविष्य कैसा होगा।