
पंजाब में इन दिनों पानी का मुद्दा बेहद गर्माया हुआ है और अब इस पर राजनीतिक हलचल भी तेज हो गई है। इस बीच, कांग्रेस ने पंजाब सरकार के स्टैंड को खुलकर समर्थन दिया है। राज्य के पूर्व विधानसभा स्पीकर और वरिष्ठ कांग्रेस नेता राणा केपी सिंह ने मुख्यमंत्री भगवंत मान की जमकर तारीफ की और कहा कि पानी का मामला राजनीति से ऊपर, पंजाब की जनता की ज़िंदगी और अस्तित्व से जुड़ा हुआ है।
राणा केपी ने कहा कि इस समय सभी राजनीतिक दलों को आपसी मतभेद भुलाकर एकजुट हो जाना चाहिए। उन्होंने साफ शब्दों में कहा, “पानी पंजाब की जीवन रेखा है और कांग्रेस इस लड़ाई में पूरी तरह मुख्यमंत्री के साथ खड़ी है।” उन्होंने यह भी दोहराया कि हरियाणा को पानी देने के सवाल पर कांग्रेस की राय स्पष्ट है – पहले पंजाब के किसानों और नागरिकों की जरूरतें पूरी होनी चाहिए।
बीजेपी पर साधा निशाना
राणा केपी ने इस मुद्दे पर भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) पर भी तीखा हमला बोला। उन्होंने आरोप लगाया कि 2022 में केंद्र सरकार ने गैर-कानूनी तरीके से भाखड़ा ब्यास मैनेजमेंट बोर्ड (BBMB) में पंजाब के सदस्यों की संख्या कम कर दी, जिससे पंजाब के हितों को नुकसान पहुंचा है। उन्होंने इसे एक सोची-समझी साजिश बताया, जो पंजाब के जल अधिकारों को कमजोर करने के लिए रची गई थी।
राजनीतिक सहमति की ज़रूरत
कांग्रेस नेता ने यह भी सुझाव दिया कि इस मुद्दे पर एक सर्वदलीय बैठक होनी चाहिए, जिससे सभी राजनीतिक दल एकजुट होकर केंद्र के सामने पंजाब की आवाज़ बुलंद कर सकें। उन्होंने इस बात का स्वागत किया कि मुख्यमंत्री इस दिशा में कदम उठा रहे हैं।
पानी के मुद्दे पर कांग्रेस का यह समर्थन मुख्यमंत्री भगवंत मान की रणनीति को ताकत दे सकता है और पंजाब की राजनीति में एक नई सहमति की शुरुआत भी हो सकती है।