
पंजाब के मलेरकोटला जिले से एक बड़ी सुरक्षा कामयाबी सामने आई है। मलेरकोटला पुलिस ने दो व्यक्तियों को जासूसी गतिविधियों में शामिल होने के आरोप में गिरफ्तार किया है। यह मामला पाकिस्तान उच्चायोग, नई दिल्ली में तैनात एक पाकिस्तानी अधिकारी से जुड़ा हुआ है।
कैसे हुआ खुलासा?
पुलिस को गुप्त सूचना मिली थी कि एक व्यक्ति भारतीय सेना की गतिविधियों से जुड़ी संवेदनशील जानकारी पाकिस्तान को भेज रहा है। सूचना पर त्वरित कार्रवाई करते हुए पुलिस ने पहले आरोपी को गिरफ्तार किया। जब उससे पूछताछ की गई तो उसने एक और सहयोगी का नाम बताया, जिसे बाद में हिरासत में लिया गया।
कैसे होती थी जासूसी?
प्राथमिक जांच में सामने आया है कि ये दोनों आरोपी ऑनलाइन लेन-देन के माध्यम से पैसे प्राप्त कर रहे थे। बदले में ये गोपनीय सैन्य जानकारी पाकिस्तान में बैठे हैंडलर को भेजते थे। इतना ही नहीं, वे हैंडलर के निर्देशों पर अन्य लोकल एजेंटों को पैसे ट्रांसफर भी करते थे।
क्या मिला पुलिस को?
पुलिस ने आरोपियों के पास से दो मोबाइल फोन बरामद किए हैं। इन फोनों से उनके पाकिस्तान स्थित हैंडलर से लगातार संपर्क में रहने के सबूत भी मिले हैं। मामले में एफआईआर दर्ज कर ली गई है और जांच को अगले स्तर पर बढ़ाया जा रहा है।
आगे क्या होगा?
पुलिस अब इस नेटवर्क के वित्तीय लेन-देन की जांच करेगी और यह पता लगाने की कोशिश कर रही है कि इसमें और कौन-कौन लोग शामिल हैं। यह भी जांच की जा रही है कि क्या इन लोगों ने और भी जानकारियाँ बाहर भेजी हैं। इस ऑपरेशन से भारत में चल रहे सीमा पार जासूसी नेटवर्क को बड़ा झटका लगा है।
पंजाब पुलिस का बयान
@PunjabPoliceInd ने कहा कि हमारी प्राथमिकता देश की सुरक्षा है। इस तरह की हरकतों को किसी भी हाल में बर्दाश्त नहीं किया जाएगा। हम पूरी मजबूती से देश की अखंडता और संप्रभुता की रक्षा के लिए कटिबद्ध हैं।
यह गिरफ्तारी यह साबित करती है कि भारत की सुरक्षा एजेंसियाँ सतर्क और सजग हैं, और किसी भी आंतरिक या बाहरी खतरे से निपटने में सक्षम हैं।