पंजाब कृषि विश्वविद्यालय, लुधियाना के मौसम विज्ञानियों ने हाल ही में एक महत्वपूर्ण रिपोर्ट जारी की है, जिसमें बताया गया है कि मौसम में आए बदलावों के कारण रात का तापमान 54 साल का रिकॉर्ड तोड़ चुका है। मौसम वैज्ञानिक डॉ. पवनीत कौर किंगरा के अनुसार, इस समय रात का तापमान सामान्य से 6.6 डिग्री अधिक है, जो 20.6 डिग्री तक पहुंच गया है।
रात का तापमान: पिछले रिकॉर्ड की तुलना
डॉ. किंगरा ने जानकारी देते हुए बताया कि पिछले 54 वर्षों में, 28 अक्टूबर 1970 को रात का तापमान 20.3 डिग्री नाप लिया गया था। इस वर्ष, तापमान इस रिकॉर्ड से आगे निकल गया है, जो मौसम में बदलाव का संकेत है। उन्होंने बताया कि दिन का तापमान भी सामान्य से 2 डिग्री अधिक होकर 32 डिग्री तक पहुंच गया है।
जलवायु परिवर्तन का प्रभाव
मौसम विज्ञानियों ने बताया कि मानव जीवन में आए बदलाव और प्रदूषण के कारण वायुमंडल में फैली गैसें मौसम पर लगातार प्रभाव डाल रही हैं। इसके परिणामस्वरूप तापमान में उतार-चढ़ाव देखा जा रहा है। डॉ. किंगरा ने कहा कि इस मौसम का फसलों पर कोई बड़ा प्रभाव नहीं पड़ा है, हालांकि यदि बारिश होती है, तो फसलें प्रभावित हो सकती हैं।
फसल की स्थिति और रबी सीजन
उन्होंने यह भी बताया कि इस समय रबी फसलों की बुवाई के लिए उचित समय है। रबी फसलें अक्टूबर और नवंबर में बोई जाती हैं, और वर्तमान मौसम परिस्थितियों के चलते किसान बिना किसी समस्या के फसलें उगा सकते हैं।
आगे का मौसम
आने वाले दिनों में मौसम में कोई बड़े बदलाव की संभावना नहीं है। डॉ. किंगरा ने यह भी कहा कि इस बार ठंड का मौसम थोड़ी देरी से शुरू होगा। यह जानकारी किसानों के लिए महत्वपूर्ण है, जो अपने फसल चक्र को सही समय पर प्रबंधित करना चाहते हैं।
पंजाब के मौसम विज्ञानियों की यह रिपोर्ट मौसम में हो रहे परिवर्तनों को दर्शाती है। बदलते तापमान और जलवायु के प्रभावों को समझना आवश्यक है, खासकर किसानों के लिए जो अपनी फसलों की सुरक्षा के लिए सतर्क रहना चाहते हैं। मौसम के इस बदलाव का न केवल कृषि पर बल्कि पूरे पारिस्थितिकी तंत्र पर प्रभाव पड़ेगा। इस प्रकार के अध्ययनों से हमें यह समझने में मदद मिलती है कि कैसे जलवायु परिवर्तन हमारे दैनिक जीवन और कृषि उत्पादन को प्रभावित कर रहा है।