पंजाब सरकार ने सहकारिता विभाग को राज्य के आर्थिक विकास की रीढ़ घोषित करते हुए इसे सशक्त और विस्तारित करने का प्रयास तेज कर दिया है। वित्त, योजना, आबकारी और कर मंत्री एडवोकेट हरपाल सिंह चीमा ने कहा कि मुख्यमंत्री भगवंत मान के नेतृत्व में सहकारिता आंदोलन को मजबूती देने के लिए वित्त विभाग पूरी तरह से समर्थन प्रदान कर रहा है। वे टैगोर भवन में आयोजित 71वें अखिल भारतीय सहकारिता सप्ताह के समापन समारोह में बोल रहे थे।
सहकारिता विभाग के नए कदम और लॉन्च
इस अवसर पर वित्त मंत्री ने सहकारिता विभाग द्वारा महिलाओं के उत्पादों को वैश्विक मंच प्रदान करने के लिए विकसित वेब पोर्टल ‘फुलकारी’ और वेरका के नए उत्पाद लॉन्च किए। इसके साथ ही, सहकारिता विभाग द्वारा तैयार की गई कॉफी टेबल बुक का भी अनावरण किया गया।
उन्होंने बताया कि जब 2022 में सरकार बनी, तब शुगरफेड पर 400 करोड़ रुपये से अधिक की देनदारियां थीं। दो वर्षों के अंदर इन देनदारियों को समाप्त कर इसे आर्थिक रूप से मजबूत किया गया है। इसका असर यह हुआ कि गन्ने का रकबा 2022-23 के 50,429 हेक्टेयर से बढ़कर 2024-25 में 56,391 हेक्टेयर तक पहुंच गया।
पराली से बिजली उत्पादन और वेरका की सफलता
भोगपुर सहकारी चीनी मिल में पराली से संचालित 14 मेगावाट का सह-उत्पादन संयंत्र स्थापित किया गया, जिसने 2023-24 में 15.31 करोड़ रुपये की आय अर्जित की।
मिल्कफेड को देश की शीर्ष तीन डेयरी एजेंसियों में शामिल करते हुए उन्होंने बताया कि 2023-24 के दौरान वेरका ने प्रतिदिन 31 लाख लीटर दूध की खरीद का रिकॉर्ड बनाया। इस दौरान वेरका ने शुगर-फ्री खीर, शुगर-फ्री मिल्क केक और अन्य नए उत्पाद लॉन्च किए।
मार्कफेड और फसल विविधता
फसल विविधता को बढ़ावा देने के लिए मार्कफेड की सराहना करते हुए उन्होंने कहा कि धान और गेहूं की परंपरागत खेती से हटाने के लिए मूंग की खरीद की योजना तैयार की गई। इस योजना के तहत 4,515 किसानों को लाभ पहुंचाते हुए 7,584 मीट्रिक टन मूंग खरीदी गई।
सहकारी बैंकों का कंप्यूटराइजेशन और ऋण सुविधा
किसानों को कम ब्याज दर पर ऋण उपलब्ध कराने के लिए सहकारी बैंकों के कंप्यूटराइजेशन की प्रक्रिया चल रही है। अब तक 50 प्रतिशत बैंकों का कंप्यूटराइजेशन पूरा हो चुका है। वित्त मंत्री ने अधिकारियों को ऋण वसूली में सुधार करने की सलाह दी ताकि अधिक किसानों को लाभ पहुंच सके।
अन्य सहकारी संस्थाओं का योगदान
उन्होंने लेबरफेड, पंजाब स्टेट कोऑपरेटिव डेवलपमेंट फेडरेशन और अन्य संस्थाओं की सेवाओं की भी सराहना की। पराली प्रबंधन के लिए लगभग 3,000 सहकारी सभाओं ने 15,000 कृषि उपकरण किसानों को उपलब्ध कराए, जिससे पराली जलाने की घटनाओं में कमी आई। साथ ही, राज्य में 12 नई फूड प्रोसेसिंग ऑर्गनाइजेशन स्थापित की गई हैं।
सम्मान समारोह और स्टाल प्रदर्शनी
इस कार्यक्रम में बेहतरीन प्रदर्शन करने वाली सहकारी सभाओं, किसानों और सहकारी बैंकों को 28 विभिन्न श्रेणियों में सम्मानित किया गया। वित्त मंत्री ने सहकारी संस्थाओं और महिला स्वयं सहायता समूहों के स्टालों का दौरा कर उनके प्रयासों की प्रशंसा की।
विशेष सचिव का संबोधन और सहकारिता का महत्व
पंजाब के विशेष मुख्य सचिव वी.के. सिंह ने सहकारिता आंदोलन की आवश्यकता पर बल दिया और कहा कि सहकारी सभाओं के माध्यम से किसान थोक में खरीद और खुदरा में बिक्री कर सकते हैं। यह सहकारी आंदोलन ही कृषि संकट से बाहर निकलने का समाधान है।
उपस्थित गणमान्य व्यक्तियों की भागीदारी
कार्यक्रम में सहकारिता सचिव रीतू अग्रवाल, पीएससीबी चेयरमैन जगदेव सिंह भम, मिल्कफेड चेयरमैन नरिंदर सिंह शेरगिल समेत कई गणमान्य व्यक्तियों ने भाग लिया।