भारत के बड़े उद्योगपति गौतम अडानी पर अमेरिका में निवेशकों के साथ धोखाधड़ी का आरोप लगा है। उन पर आरोप है कि उन्होंने भारतीय उपमहाद्वीप में सौर ऊर्जा परियोजनाओं के अनुबंध और वित्तपोषण हासिल करने के लिए सरकारी अधिकारियों को रिश्वत दी। इस मामले ने देश और विदेश में हलचल मचा दी है। विपक्ष के प्रमुख नेता राहुल गांधी ने इसे लेकर तीखा हमला बोला है और अडानी की गिरफ्तारी की मांग की है।
राहुल गांधी का अडानी पर निशाना
कांग्रेस नेता राहुल गांधी ने आज एक प्रेस कॉन्फ्रेंस में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और गौतम अडानी के बीच कथित संबंधों पर सवाल उठाए। उन्होंने कहा कि अडानी “बेखौफ” घूम रहे हैं जबकि अन्य नेताओं को मामूली आरोपों में जेल भेज दिया जाता है। राहुल गांधी ने कहा,
“एक मुख्यमंत्री को 10-15 करोड़ के आरोप में जेल भेज दिया जाता है, लेकिन अडानी जी 2000 करोड़ रुपये के घोटाले के बावजूद आजाद घूम रहे हैं। प्रधानमंत्री अडानी को बचा रहे हैं और भ्रष्टाचार में उनकी मदद कर रहे हैं।”
राहुल गांधी ने यह भी कहा कि अडानी और उनके समूह ने अमेरिका में भी अपराध किए हैं। उन्होंने प्रधानमंत्री पर आरोप लगाते हुए कहा कि मोदी सरकार अडानी को बचाने के लिए हर संभव प्रयास कर रही है।
कानूनी आरोप और रिश्वत का मामला
अडानी पर आरोप है कि उन्होंने 12 गीगावाट सौर ऊर्जा परियोजनाओं के लिए भारत सरकार से अनुबंध हासिल करने के मकसद से 26.5 करोड़ डॉलर (लगभग 2,200 करोड़ रुपये) की रिश्वत दी या देने की योजना बनाई। इस मामले में उनके भतीजे और अडानी ग्रीन एनर्जी लिमिटेड के कार्यकारी निदेशक सागर अडानी और पूर्व सीईओ विनीत जैन भी शामिल हैं।
इस मामले में अडानी समूह की कंपनियों ने भारत सरकार के अधिकारियों को कथित तौर पर रिश्वत देकर अरबों डॉलर के अनुबंध और वित्तपोषण हासिल किया। आरोप है कि यह रिश्वत सरकारी तंत्र को प्रभावित करने और लाभ कमाने के उद्देश्य से दी गई।
राहुल गांधी की गिरफ्तारी की मांग
राहुल गांधी ने गौतम अडानी की तुरंत गिरफ्तारी की मांग करते हुए कहा कि,
“अडानी को गिरफ्तार किया जाना चाहिए और उनकी संपत्ति की जांच की जानी चाहिए। इस पूरे मामले में माधुरी बुच (स्टॉक रेगुलेटरी संस्था SEBI की प्रमुख) को भी हटाया जाना चाहिए क्योंकि वह अडानी को संरक्षण दे रही हैं।”
उन्होंने सरकार से संयुक्त संसदीय समिति (JPC) की मांग को दोहराते हुए कहा कि यह जांच आवश्यक है ताकि अडानी समूह के खिलाफ लगे आरोपों की निष्पक्षता से जांच हो सके।
भ्रष्टाचार के आरोप और सरकार की प्रतिक्रिया
राहुल गांधी ने प्रधानमंत्री मोदी पर सीधा आरोप लगाते हुए कहा कि वह अडानी समूह को बचाने के लिए खुद भ्रष्टाचार में शामिल हैं। उन्होंने प्रधानमंत्री और अडानी समूह के बीच कथित संबंधों पर सवाल उठाया और दावा किया कि अडानी समूह भाजपा को राजनीतिक और आर्थिक रूप से समर्थन दे रहा है।
अडानी समूह पर आरोपों का असर
अडानी समूह पर लगे ये गंभीर आरोप उनकी कंपनियों और उनकी छवि पर बड़ा असर डाल सकते हैं। पिछले साल हिंडनबर्ग रिसर्च द्वारा लगाए गए वित्तीय अनियमितताओं के आरोपों के बाद अडानी समूह को काफी आलोचना झेलनी पड़ी थी। ताजा मामले में उनके खिलाफ अमेरिकी अदालत में आपराधिक मामला दर्ज होने की संभावना है, जिससे उनकी अंतरराष्ट्रीय साख को भी झटका लग सकता है।