Punjab Weather पंजाब में घने कोहरे और वायु प्रदूषण की स्थिति
पंजाब के सात जिलों में आज (शुक्रवार) और शनिवार को घने कोहरे की संभावना जताई गई है। इस संबंध में मौसम विभाग ने येलो अलर्ट जारी किया है। ये जिले हैं अमृतसर, नवांशहर, कपूरथला, जालंधर, लुधियाना, फतेहगढ़ साहिब और पटियाला। घने कोहरे के कारण दृश्यता कम हो सकती है और सड़क हादसों की आशंका बढ़ सकती है।
वायु प्रदूषण और पराली जलाने के मामले
पंजाब के प्रमुख शहरों में इस समय वायु गुणवत्ता खराब है। चंडीगढ़ के मोहाली से सटे सेक्टर-53 में वायु गुणवत्ता सूचकांक (AQI) 248 दर्ज किया गया है। पंजाब के मंडी गोबिंदगढ़ में AQI सबसे ज्यादा 273 तक पहुंच गया है। लुधियाना में AQI 261, जालंधर में 235 और पटियाला में 213 दर्ज किया गया है। इसके मुकाबले रूपनगर (AQI 131) और बठिंडा (AQI 159) में वायु गुणवत्ता सबसे बेहतर दर्ज की गई है।
इस समस्या का एक मुख्य कारण पराली जलाने के बढ़ते मामले हैं। सरकार द्वारा इसे रोकने के कई प्रयासों के बावजूद, पिछले 24 घंटों में पराली जलाने के 192 नए मामले सामने आए हैं। इनमें सबसे अधिक मामले फाजिल्का (42), फिरोजपुर (38), मुक्तसर (22), तरनतारन (13) और फरीदकोट (13) जिलों में दर्ज किए गए हैं। 15 सितंबर से अब तक पराली जलाने के कुल 10,296 मामले दर्ज किए गए हैं। हालांकि पिछले सालों के मुकाबले ये संख्या कम हुई है, लेकिन स्थिति अभी भी चिंताजनक बनी हुई है।
तापमान और मौसम में बदलाव
पिछले 24 घंटों में पंजाब के अधिकतम तापमान में 0.4 डिग्री सेल्सियस की गिरावट दर्ज की गई है। रात के तापमान में भी 0.2 डिग्री की कमी आई है। मौसम विभाग के अनुसार, तापमान अब सामान्य स्तर के करीब पहुंच रहा है। बठिंडा में अधिकतम तापमान 28.6 डिग्री सेल्सियस दर्ज किया गया है।
चंडीगढ़ में अधिकतम तापमान 26.9 डिग्री, अमृतसर में 25.8 डिग्री और जालंधर में 24.6 डिग्री दर्ज किया गया है। आज के दिन अधिकतर जिलों में घना कोहरा छाया रहेगा।
सरकारी उपायों की आवश्यकता
पराली जलाने और वायु प्रदूषण की समस्या से निपटने के लिए सरकार को और सख्त कदम उठाने की आवश्यकता है। जहां मौसम में सुधार की उम्मीद है, वहीं कोहरे और प्रदूषण के कारण लोगों की सेहत और सामान्य जीवन पर असर पड़ने की संभावना बनी हुई है।
मौसम विभाग और सरकार द्वारा जारी चेतावनियों को ध्यान में रखते हुए लोगों को सतर्क रहने की सलाह दी गई है। पराली जलाने को रोकने और वायु की गुणवत्ता सुधारने के लिए प्रभावी कदम उठाने की जरूरत है, ताकि आगामी दिनों में मौसम और स्वास्थ्य से जुड़ी समस्याओं से बचा जा सके।