नई दिल्ली: चुनाव आयोग ने दिल्ली विधानसभा चुनाव 2025 की तारीखों का ऐलान कर दिया है। मुख्य चुनाव आयुक्त राजीव कुमार ने प्रेस कॉन्फ्रेंस में बताया कि 5 फरवरी 2025 को मतदान होगा, जबकि 8 फरवरी को मतगणना के बाद नतीजे घोषित किए जाएंगे। चुनाव एक ही चरण में संपन्न होगा, जिसमें दिल्ली की 70 विधानसभा सीटों के लिए वोटिंग होगी।
चुनाव आयोग की प्रमुख घोषणाएं
मुख्य चुनाव आयुक्त ने चुनाव प्रक्रिया की पारदर्शिता और निष्पक्षता सुनिश्चित करने पर जोर दिया। इस बार दिल्ली में 13,000 से अधिक पोलिंग बूथ बनाए गए हैं, जहां मतदाता अपने वोट का इस्तेमाल कर सकेंगे। आयोग ने यह भी घोषणा की कि 85 वर्ष से अधिक आयु के नागरिकों को घर से मतदान करने की सुविधा दी जाएगी। यह फैसला बुजुर्ग मतदाताओं के हितों को ध्यान में रखते हुए लिया गया है।
ईवीएम (इलेक्ट्रॉनिक वोटिंग मशीन) के बारे में उठने वाले सवालों पर मुख्य चुनाव आयुक्त ने स्पष्ट किया कि यह पूरी तरह से फुलप्रूफ डिवाइस है और इसमें वायरस या छेड़छाड़ की संभावना नहीं है। उन्होंने कहा कि चुनाव में पारदर्शिता आयोग की प्राथमिकता है और जनता को इस पर पूरा भरोसा करना चाहिए।
महिला सम्मान का रखे ध्यान
चुनाव प्रचार के दौरान भाषा और शिष्टाचार पर जोर देते हुए मुख्य चुनाव आयुक्त ने कहा कि महिलाओं के खिलाफ किसी भी प्रकार की अभद्र भाषा या टिप्पणी बर्दाश्त नहीं की जाएगी। उन्होंने सभी राजनीतिक दलों और उम्मीदवारों से आग्रह किया कि प्रचार अभियान के दौरान मर्यादा का पालन करें।
त्रिकोणीय मुकाबले की संभावना
दिल्ली चुनाव में मुख्य मुकाबला आम आदमी पार्टी (आप), भारतीय जनता पार्टी (भाजपा), और कांग्रेस के बीच होगा। 2015 और 2020 के चुनावों में प्रचंड जीत दर्ज करने वाली आम आदमी पार्टी इस बार भी अपनी सत्ता बचाने की कोशिश करेगी। वहीं, भाजपा और कांग्रेस अपनी खोई हुई जमीन को वापस पाने के लिए चुनावी मैदान में जोर आजमाएंगी।
चुनाव आयोग की तैयारी
इस बार चुनाव आयोग ने मतदाताओं की सुविधा को ध्यान में रखते हुए कई कदम उठाए हैं। पोलिंग बूथों पर विशेष इंतजाम किए जाएंगे, जिसमें दिव्यांगजन और बुजुर्ग मतदाताओं के लिए विशेष व्यवस्थाएं शामिल हैं। आयोग ने यह भी कहा कि चुनाव को शांतिपूर्ण और निष्पक्ष तरीके से कराने के लिए पर्याप्त सुरक्षा इंतजाम किए जाएंगे।
राजनीतिक दलों की रणनीति
आम आदमी पार्टी, जिसने पिछले चुनाव में शानदार प्रदर्शन किया था, इस बार भी दिल्ली की जनता से विकास के मुद्दे पर वोट मांगने की तैयारी कर रही है। दूसरी ओर, भाजपा ने केंद्र सरकार की योजनाओं और दिल्ली के विकास के वादों के साथ जनता को लुभाने की रणनीति बनाई है। कांग्रेस, जो पिछले दो चुनावों में पिछड़ चुकी है, इस बार वापसी की उम्मीद कर रही है।
दिल्ली चुनाव: जनता की भूमिका
चुनाव आयोग ने जनता से अपील की है कि वे अपने मताधिकार का सही इस्तेमाल करें। दिल्ली के नागरिकों के पास अपनी सरकार चुनने का एक और मौका है, और इस प्रक्रिया में उनकी भागीदारी लोकतंत्र को और मजबूत बनाएगी।
निष्कर्ष
दिल्ली विधानसभा चुनाव 2025 में एक बार फिर से त्रिकोणीय मुकाबला देखने को मिलेगा। आम आदमी पार्टी अपनी सत्ता बचाने की कोशिश करेगी, जबकि भाजपा और कांग्रेस इसे चुनौती देंगी। 5 फरवरी को होने वाले मतदान और 8 फरवरी को घोषित होने वाले नतीजे यह तय करेंगे कि दिल्ली की जनता किसे अपना अगला नेता चुनती है।