
संयुक्त राष्ट्र में एक बार फिर भारत ने आतंकवाद के मुद्दे पर पाकिस्तान को घेर लिया है। भारत ने साफ शब्दों में कहा है कि जब तक पाकिस्तान सीमा पार से आतंकवाद को समर्थन देना बंद नहीं करता, तब तक सिंधु जल संधि को आगे नहीं बढ़ाया जाएगा। भारत के स्थायी प्रतिनिधि परवतनेनी हरीश ने संयुक्त राष्ट्र सुरक्षा परिषद की बैठक में पाकिस्तान पर तीखा हमला बोला।
हरीश ने कहा कि पाकिस्तान बार-बार सिंधु जल संधि को लेकर झूठी जानकारी फैला रहा है और दुनिया को गुमराह करने की कोशिश कर रहा है। उन्होंने कहा कि असली उल्लंघन पाकिस्तान खुद कर रहा है। भारत अब तक बहुत संयम बरतता आया है, लेकिन पाकिस्तान द्वारा प्रायोजित आतंकवाद ने हमारे नागरिकों, धार्मिक सौहार्द और आर्थिक प्रगति को भारी नुकसान पहुंचाया है।
पाकिस्तान को किया बेनकाब
भारत ने यह भी बताया कि पिछले दो वर्षों में कई बार भारत ने पाकिस्तान के साथ संधि की शर्तों में बदलाव को लेकर बातचीत का प्रस्ताव दिया, लेकिन पाकिस्तान ने हर बार उसे खारिज कर दिया। भारत ने इसे पाकिस्तान का जिद्दी रवैया बताया, जो भारत को उसके जायज़ जल अधिकारों से वंचित कर रहा है।
विदेश सचिव ने भी दी कड़ी चेतावनी
भारत के विदेश सचिव विक्रम मिसरी ने एक संसदीय समिति को जानकारी देते हुए कहा कि बदलते जलवायु परिवर्तन, ग्लेशियरों के पिघलने और नई तकनीकी जरूरतों के चलते सिंधु जल संधि की शर्तों पर दोबारा विचार करना ज़रूरी हो गया है। उन्होंने कहा कि पाकिस्तान अब इस संधि की मूल भावना – “दोस्ती और सद्भाव” – की बार-बार अनदेखी कर रहा है।
संयुक्त राष्ट्र में भारत का सख्त रुख
संयुक्त राष्ट्र में एक अन्य बहस के दौरान जब पाकिस्तान के प्रतिनिधि ने एक बार फिर कश्मीर और भारत-पाक टकराव का मुद्दा उठाया, तो भारत ने उसे “पाखंडी” कहकर करारा जवाब दिया। भारत ने कहा कि एक ऐसा देश जो आतंकवादियों और आम नागरिकों के बीच फर्क नहीं करता, उसे नागरिकों की सुरक्षा पर बोलने का कोई हक नहीं है।
भारत ने पाकिस्तान को याद दिलाया कि वह पिछले कई दशकों से भारत में आतंकवादी हमलों का समर्थन करता आ रहा है। भारत ने संयुक्त राष्ट्र के मंच पर दो टूक कहा कि अब “संयम की नीति” खत्म हो गई है। जब तक पाकिस्तान आतंकवाद को बंद नहीं करता, सिंधु जल संधि को आगे नहीं बढ़ाया जाएगा।
भारत का यह सख्त रुख दिखाता है कि अब वह आतंकवाद और धोखे को किसी भी हाल में बर्दाश्त नहीं करेगा। संयुक्त राष्ट्र में भारत ने जिस मजबूती से अपनी बात रखी है, उससे साफ है कि अब पाकिस्तान को अपने रवैए में बदलाव करना होगा, वरना उसे अंतरराष्ट्रीय स्तर पर और ज्यादा शर्मिंदगी का सामना करना पड़ सकता है।