पंजाब के बिजली और लोक निर्माण मंत्री स. हरभजन सिंह ई.टी.ओ. ने केंद्रीय वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण द्वारा प्रस्तुत केंद्रीय बजट पर गहरी नाराजगी व्यक्त की है। उन्होंने कहा कि इस बजट में पंजाब, विशेष रूप से इसके सीमावर्ती क्षेत्रों को पूरी तरह से नजरअंदाज किया गया है। पंजाब जैसे संवेदनशील राज्य के लिए आवश्यक सहायता और विकास योजनाओं को प्राथमिकता नहीं दी गई, जिससे यह स्पष्ट होता है कि केंद्र सरकार पंजाब की आवश्यकताओं को अनदेखा कर रही है।
सीमावर्ती इलाकों की उपेक्षा
मंत्री हरभजन सिंह ने बताया कि पंजाब भारत-पाकिस्तान सीमा से सटा हुआ राज्य है, जहां रोजगार, सुरक्षा, बुनियादी ढांचे और औद्योगिक विकास को लेकर विशेष योजनाओं की जरूरत है। राज्य के सीमावर्ती जिले नशीली दवाओं की तस्करी और अन्य सुरक्षा संबंधी चुनौतियों का सामना कर रहे हैं। पंजाब सरकार ने इन समस्याओं को हल करने के लिए कई बार केंद्र सरकार से विशेष आर्थिक पैकेज और बुनियादी ढांचे के विकास के लिए सहायता की मांग की थी, लेकिन इस बजट में उन सभी मांगों को पूरी तरह से नजरअंदाज कर दिया गया।
राज्य की अनदेखी पर कड़ी प्रतिक्रिया
काबीना मंत्री ने जोर देकर कहा कि बजट में पंजाब के लिए किसी भी विशेष सहायता का प्रावधान न होना यह दर्शाता है कि केंद्र सरकार राज्य की उन्नति के प्रति गंभीर नहीं है। पंजाब सरकार ने कृषि, उद्योग, शिक्षा, स्वास्थ्य और सुरक्षा के लिए विभिन्न मांगें रखी थीं, लेकिन उन्हें पूरी तरह से दरकिनार कर दिया गया।
उन्होंने कहा कि केंद्र सरकार को पंजाब की कृषि व्यवस्था को मजबूत करने, किसानों को न्यूनतम समर्थन मूल्य (एमएसपी) की गारंटी देने और औद्योगिक इकाइयों को बढ़ावा देने के लिए विशेष नीति बनानी चाहिए थी, लेकिन बजट में इस पर कोई ध्यान नहीं दिया गया।
पंजाब सरकार का संघर्ष जारी रहेगा
मंत्री हरभजन सिंह ई.टी.ओ. ने कहा कि मुख्यमंत्री भगवंत मान के नेतृत्व में पंजाब सरकार राज्य के विकास के लिए पूरी तरह से प्रतिबद्ध है। उन्होंने दोहराया कि भले ही केंद्र सरकार पंजाब की मांगों की अनदेखी करे, फिर भी राज्य सरकार अपने संसाधनों से प्रदेश की जनता को बुनियादी सुविधाएं उपलब्ध कराने और विकास योजनाओं को लागू करने में कोई कसर नहीं छोड़ेगी।
उन्होंने कहा कि भविष्य में भी पंजाब सरकार अपने हक के लिए संघर्ष करती रहेगी और केंद्र सरकार से राज्य के विकास के लिए आवश्यक सहायता की मांग जारी रखेगी। पंजाब सरकार का लक्ष्य प्रदेश को एक समृद्ध, आत्मनिर्भर और औद्योगिक रूप से मजबूत राज्य बनाना है, और इसके लिए हरसंभव प्रयास किए जाएंगे।
पंजाब सरकार का मानना है कि केंद्रीय बजट को संतुलित और सभी राज्यों की जरूरतों को ध्यान में रखते हुए बनाया जाना चाहिए था। लेकिन भाजपा सरकार ने अपने राजनीतिक हितों के अनुसार बजट तैयार किया और पंजाब जैसे महत्वपूर्ण राज्य को पूरी तरह से अनदेखा कर दिया। काबीना मंत्री हरभजन सिंह ई.टी.ओ. ने स्पष्ट किया कि केंद्र सरकार की इस उपेक्षा के बावजूद पंजाब सरकार अपने नागरिकों की भलाई के लिए प्रतिबद्ध रहेगी और विकास कार्यों को जारी रखेगी।