
पिछले एक साल से पंजाब के शंभू-खनौरी बॉर्डर पर आंदोलन कर रहे किसानों के तंबू हाल ही में हटा दिए गए। इस पर भारतीय किसान यूनियन (BKU) के राष्ट्रीय प्रवक्ता राकेश टिकैत ने नाराजगी जाहिर की है।
क्या सरकारें मिलकर किसानों के खिलाफ काम कर रही हैं?
टीवी शो ‘सीधा सवाल’ में जब राकेश टिकैत से पूछा गया कि क्या बीजेपी और आम आदमी पार्टी (AAP) जैसी सरकारें किसानों को रोकने के लिए एक हो जाती हैं, तो उन्होंने जवाब दिया, “हां, सरकारें आपस में मिल जाती हैं।” उन्होंने यह भी कहा कि आमतौर पर आंदोलन इतने लंबे नहीं चलते, लेकिन जब सरकारें बातचीत नहीं करतीं, तो किसानों को मजबूरी में डटे रहना पड़ता है। उन्होंने सरकार की टालमटोल वाली नीति पर भी नाराजगी जताई और कहा, “क्या ये कोई शादी का मुहूर्त है कि डेढ़ महीने बाद बातचीत होगी?” उनका इशारा सरकार के उस रवैये की तरफ था, जहां बार-बार बातचीत को टाला जा रहा है।
“किसान संगठन टूट रहे, इससे नुकसान होगा”
राकेश टिकैत ने यह भी कहा कि किसान संगठनों में टूट-फूट हो रही है, जिससे आंदोलन कमजोर हो सकता है। उन्होंने कहा, “अभी और भी नए किसान संगठन बनेंगे, लेकिन इससे किसानों को फायदा नहीं, बल्कि नुकसान होगा।” टिकैत ने संकेत दिया कि सरकार किसानों को बांटने की रणनीति अपना रही है, जिससे उनकी एकजुटता खत्म हो जाए।
किसान आंदोलन आगे कैसे बढ़ेगा?
इस पूरे मुद्दे पर टिकैत का कहना है कि जब तक सरकार किसानों की मांगें नहीं मानती, आंदोलन खत्म नहीं होगा। हालांकि, किसान संगठनों के टूटने से यह लड़ाई और मुश्किल हो सकती है। किसानों को अब यह तय करना होगा कि वे एकजुट होकर अपनी मांगों को आगे बढ़ाएं या अलग-अलग संगठनों में बंटकर सरकार की रणनीति का शिकार बनें।
क्या सरकार किसानों से सच में बात करेगी?
फिलहाल, सरकार की तरफ से इस मुद्दे पर कोई ठोस बयान नहीं आया है। किसान नेताओं का मानना है कि सरकार जानबूझकर बातचीत टाल रही है, ताकि किसान कमजोर पड़ जाएं। आगे देखने वाली बात यह होगी कि क्या सरकार किसानों की मांगों को मानकर उनके साथ बातचीत करेगी या फिर आंदोलन और लंबा खिंच सकता है।
किसान आंदोलन पिछले एक साल से जारी है, लेकिन सरकार और किसानों के बीच बातचीत अभी भी अधर में लटकी हुई है। किसान नेता राकेश टिकैत ने सरकार पर मिलीभगत और किसानों को कमजोर करने के आरोप लगाए हैं। अब देखना होगा कि यह आंदोलन आगे क्या मोड़ लेता है और क्या सरकार किसानों के साथ बैठकर उनकी समस्याओं का समाधान करेगी।