
साल 2025 में सोने की कीमतें लगातार नए रिकॉर्ड बना रही हैं। खास बात यह है कि इतिहास में पहली बार सोना ₹1 लाख प्रति 10 ग्राम से ऊपर पहुंच गया है। जालंधर सर्राफा एसोसिएशन के अनुसार, 22 अप्रैल को जालंधर में 24 कैरेट सोना ₹1,01,000 प्रति 10 ग्राम की दर से बिक रहा है। इसी के साथ 23 कैरेट सोना ₹98,480 और 22 कैरेट सोना ₹93,930 प्रति 10 ग्राम मिल रहा है।
चांदी की कीमत भी तेजी से बढ़ी है और आज यह ₹97,400 प्रति किलोग्राम के रेट पर पहुंच चुकी है। इन आकड़ों से साफ है कि सोने-चांदी की कीमतों में भारी उछाल आया है।
क्यों बढ़ रही हैं सोने की कीमतें?
विशेषज्ञों का मानना है कि इस बार सोने की कीमतों में उछाल का मुख्य कारण अंतरराष्ट्रीय स्तर पर फैला तनाव है। अमेरिका के पूर्व राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप और चीन के राष्ट्रपति शी जिनपिंग के बीच लगातार चल रहे तनाव ने वैश्विक बाजारों में अनिश्चितता पैदा की है। ऐसी स्थितियों में निवेशक सुरक्षित विकल्प की तलाश करते हैं और सोना उन्हें सबसे सुरक्षित संपत्ति के रूप में नजर आता है। इसी वजह से दुनियाभर में सोने की मांग बढ़ रही है, जिससे इसकी कीमतें तेजी से ऊपर जा रही हैं।
अंतरराष्ट्रीय बाजार में भी रिकॉर्ड
अंतरराष्ट्रीय बाजार में भी सोने के दाम रिकॉर्ड स्तर पर हैं। वहां सोना $3,430 प्रति औंस तक पहुंच गया है, जो अब तक का सबसे ऊंचा स्तर है।
MCX पर भी रिकॉर्ड तोड़ रफ्तार
भारत में मल्टी कमोडिटी एक्सचेंज (MCX) पर भी सोने की कीमतों में तेजी बनी हुई है। जून डिलीवरी के लिए सोने का भाव 99,000 रुपये प्रति 10 ग्राम के आंकड़े को पार कर गया है। सोमवार को MCX पर सोना ₹97,279 पर बंद हुआ था, लेकिन मंगलवार सुबह यह ₹98,753 पर खुला। दिन चढ़ते-चढ़ते इसकी कीमत ₹99,122 के करीब पहुंच गई।
क्या होगा आगे?
बाजार जानकारों का मानना है कि जब तक वैश्विक स्तर पर अनिश्चितता बनी रहेगी, तब तक सोने में निवेशकों की रुचि बनी रहेगी और इसकी कीमतें और ऊपर जा सकती हैं। वहीं, भारत में शादी-ब्याह का मौसम और मांग भी कीमतों को और बढ़ा सकती है।
निवेशकों के लिए क्या है संकेत?
जो लोग निवेश के विकल्प देख रहे हैं, उनके लिए सोना एक सुरक्षित विकल्प बन सकता है, लेकिन इतनी ऊंची कीमतों पर खरीदारी करने से पहले बाजार की स्थिति और विशेषज्ञों की सलाह जरूर लेनी चाहिए।
सोने की कीमतों ने इस साल सारे रिकॉर्ड तोड़ दिए हैं और ₹1 लाख प्रति 10 ग्राम का आंकड़ा पार कर लिया है। इसके पीछे अंतरराष्ट्रीय तनाव और निवेशकों का सोने की ओर रुझान मुख्य कारण हैं। आने वाले समय में इसकी कीमतें और बढ़ सकती हैं।