
उत्तराखंड के रुद्रप्रयाग जिले में रविवार सुबह से भारी बारिश और भूस्खलन के चलते हालात बेहद खराब हो गए हैं। खासकर केदारनाथ यात्रा मार्ग पर भारी बारिश के कारण नदी-नाले उफान पर आ गए हैं और रास्तों पर मलबा जमा हो गया है।
भारी बारिश के कारण बीते रविवार सुबह भैंबली क्षेत्र में एक नदी का जलस्तर अचानक काफी बढ़ गया। इस कारण आसपास मौजूद पैदल यात्रियों को तुरंत सुरक्षित स्थानों पर पहुंचाया गया। वहीं, जंगलचट्टी इलाके में भूस्खलन के चलते एक खच्चर मालिक की मलबे में दबकर मौत हो गई। मृतक की पहचान नेपाल निवासी महेंदर के रूप में हुई है।
चार यात्री घायल, अस्पताल में भर्ती
घटना के दौरान चार और यात्री घायल हो गए, जिन्हें बचाव टीम ने मलबे से निकालकर गौरीकुंड अस्पताल पहुंचाया। सभी की हालत स्थिर बताई जा रही है।
जिला आपदा प्रबंधन केंद्र के इंचार्ज नंदन सिंह रजवार ने जानकारी दी कि गौरीकुंड की ओर जाने वाले पैदल यात्रा मार्ग पर काफी मात्रा में मलबा आ गया है, जिससे रास्ता बंद हो गया है।
नदी का जलस्तर बढ़ा, पुल पार करना हुआ मुश्किल
भारी बारिश के चलते जंगलचट्टी की नदी भी उफान पर आ गई है। वहां मौजूद तीर्थयात्रियों को पुल पार करने से रोक दिया गया ताकि कोई दुर्घटना न हो। साथ ही नदी के किनारे स्थित तीन दुकानों को तुरंत खाली करवाकर सुरक्षित स्थानों पर शिफ्ट किया गया है।
डीआरएफ और वाईएमएफ की टीमें मौके पर
स्थिति को देखते हुए डिजास्टर रेस्पॉन्स फोर्स (DRF) और वाईएमएफ की टीमें तुरंत हरकत में आईं। उन्होंने यात्रियों को नदी के पास से हटाया और उन्हें सुरक्षित जगह पर पहुंचाया। जैसे ही हालात सामान्य हुए, यात्रियों को आगे बढ़ने की इजाजत दी गई।
प्रशासन ने दी सतर्कता की सलाह
प्रशासन की तरफ से सभी यात्रियों को सतर्क रहने और मौसम की जानकारी लेकर ही यात्रा पर निकलने की सलाह दी गई है। बारिश और भूस्खलन की आशंका को देखते हुए कई हिस्सों में यात्रा फिलहाल रोकी गई है।
उत्तराखंड के पर्वतीय इलाकों में इस समय मौसम चुनौतीपूर्ण बना हुआ है। केदारनाथ यात्रा पर जाने वाले श्रद्धालुओं को प्राकृतिक आपदाओं से सतर्क रहना बेहद जरूरी है। प्रशासन और राहत टीमें लगातार काम कर रही हैं, लेकिन ऐसे मौसम में सावधानी ही सबसे बड़ा बचाव है।