भारतीय क्रिकेट टीम के कप्तान रोहित शर्मा बॉर्डर-गावस्कर ट्रॉफी (BGT 2024-25) के बाद टेस्ट क्रिकेट से रिटायरमेंट लेने पर विचार कर रहे हैं। एक मीडिया रिपोर्ट के अनुसार, रोहित अपने करियर को लेकर एक बड़ा फैसला लेने वाले हैं। उनकी कप्तानी में भारत इस प्रतिष्ठित ट्रॉफी को जीतने में नाकाम रहा है, जिसे टीम इंडिया पिछले चार बार से अपने नाम कर रही थी।
रोहित का प्रदर्शन और कप्तानी पर सवाल
ऑस्ट्रेलिया के खिलाफ चल रही इस सीरीज में रोहित शर्मा का व्यक्तिगत प्रदर्शन कुछ खास नहीं रहा है। उन्होंने अब तक पांच पारियों में केवल 31 रन बनाए हैं। वहीं, उनकी कप्तानी में टीम को मेलबर्न टेस्ट में 184 रनों से हार का सामना करना पड़ा, जिससे भारत सीरीज में 1-2 से पीछे है।
BCCI और चयनकर्ताओं ने की चर्चा
TOI की रिपोर्ट के मुताबिक, BCCI के शीर्ष अधिकारियों और चयनकर्ताओं ने रोहित शर्मा से इस मुद्दे पर बातचीत की है। रिपोर्ट बताती है कि रोहित अपने फैसले को लेकर अडिग हैं। हालांकि, रिटायरमेंट की तारीख अब तक घोषित नहीं की गई है। संभावना है कि रोहित सिडनी टेस्ट के बाद अपने टेस्ट करियर को अलविदा कह सकते हैं।
यदि भारत वर्ल्ड टेस्ट चैंपियनशिप (WTC) के फाइनल में पहुंचता है, तो रोहित चयनकर्ताओं से बात कर सकते हैं और कुछ समय के लिए कप्तान पद पर बने रह सकते हैं।
मेलबर्न टेस्ट की हार पर रोहित की प्रतिक्रिया
मेलबर्न टेस्ट में हार के बाद रोहित ने कहा कि यह हार मानसिक तौर पर उन्हें झकझोर देने वाली है। उन्होंने माना कि बहुत सी चीजें उनके मुताबिक नहीं हो रही हैं। ऑस्ट्रेलिया के खिलाफ जसप्रीत बुमराह जैसे गेंदबाज ने अकेले दम पर 30 विकेट लेकर शानदार प्रदर्शन किया, लेकिन बल्लेबाजी में टीम का प्रदर्शन निराशाजनक रहा।
रोहित ने यह भी कहा कि वे बिना संघर्ष किए टेस्ट क्रिकेट से संन्यास नहीं लेना चाहते। सिडनी टेस्ट उनके लिए एक आखिरी मौका हो सकता है, जहां वे बेहतर प्रदर्शन कर अपने टेस्ट करियर का अंत सम्मानजनक तरीके से करना चाहेंगे।
रोहित शर्मा का टेस्ट करियर
रोहित शर्मा ने अब तक भारतीय टीम के लिए टेस्ट क्रिकेट में 52 से ज्यादा मैच खेले हैं। उन्होंने 46 की औसत से 3,700 से अधिक रन बनाए हैं, जिसमें 10 शतक और 15 अर्धशतक शामिल हैं। हालांकि, हाल के प्रदर्शन को देखते हुए उनके करियर और कप्तानी पर सवाल उठे हैं।
अगर रिपोर्ट्स सही साबित होती हैं, तो रोहित शर्मा का सिडनी टेस्ट उनके टेस्ट करियर का आखिरी मुकाबला हो सकता है। उनकी कप्तानी और बल्लेबाजी को लेकर आलोचना जारी है, लेकिन यह भी सच है कि उन्होंने भारतीय क्रिकेट को अपने प्रदर्शन से कई यादगार पल दिए हैं। WTC फाइनल में भारत की स्थिति और सिडनी टेस्ट का नतीजा उनके फैसले को प्रभावित कर सकता है।