बिहार के सरकारी भवनों में इस महीने तक स्मार्ट प्रीपेड मीटर लगाने का लक्ष्य
बिहार के सभी सरकारी भवनों में इस महीने के अंत तक स्मार्ट प्रीपेड मीटर लगाए जाएंगे। शनिवार को आयोजित समीक्षा बैठक में बिजली कंपनी के अध्यक्ष सह प्रबंध निदेशक (सीएमडी) पंकज कुमार पाल ने इस योजना की प्रगति का आकलन किया और अधिकारियों को आवश्यक निर्देश दिए।
बैठक में सीएमडी ने विभिन्न स्थानों पर स्मार्ट प्रीपेड मीटरों के खराब होने की शिकायतों पर गंभीर चिंता जताई। उन्होंने कहा कि मीटर खराब होने से उपभोक्ताओं को असुविधा हो रही है और वितरण कंपनियों को राजस्व का नुकसान उठाना पड़ रहा है। उन्होंने सिक्योर मीटर्स और इंटेलिस्मार्ट जैसी मीटरिंग एजेंसियों के खराब प्रदर्शन पर नाराजगी जाहिर करते हुए इन एजेंसियों को कड़ी चेतावनी दी। साथ ही, उन्होंने एजेंसियों को अपने कार्यबल को बढ़ाकर सभी खराब मीटरों को 15 जनवरी 2025 तक बदलने का सख्त निर्देश दिया।
उपभोक्ताओं के साथ संपर्क और समाधान पर जोर
सीएमडी ने अधिकारियों को निर्देश दिया कि उपभोक्ताओं के साथ लगातार संवाद बनाए रखा जाए ताकि समय पर बिजली बिल जमा हो सके और बिजली से जुड़ी उनकी समस्याओं का त्वरित समाधान सुनिश्चित हो। उन्होंने माइकिंग, कॉलिंग और घर-घर जाकर उपभोक्ताओं तक पहुंचने की प्रक्रिया को तेज करने पर बल दिया। इसके साथ ही, उपभोक्ताओं को उनके बैलेंस शून्य होने की स्थिति में तत्काल रिचार्ज के लिए जागरूक करना और उन्हें मोबाइल ऐप का उपयोग सिखाना भी जरूरी बताया।
राजस्व संग्रह में सुधार की जरूरत
बैठक के दौरान, विभिन्न अंचलों और प्रमंडलों के अधिकारियों ने राजस्व संग्रह में आ रही चुनौतियों को साझा किया। सीएमडी ने अधिकारियों को राजस्व संग्रह की प्रक्रिया को अधिक प्रभावी बनाने और उपभोक्ताओं की समस्याओं का शीघ्र समाधान सुनिश्चित करने के निर्देश दिए। उन्होंने उपभोक्ताओं में जागरूकता बढ़ाने के लिए सूचना, शिक्षा और संचार (आईईसी) गतिविधियों को और तेज करने पर जोर दिया।
बैठक में वरिष्ठ अधिकारियों की भागीदारी
समीक्षा बैठक में नॉर्थ बिहार पावर डिस्ट्रीब्यूशन कंपनी लिमिटेड के प्रबंध निदेशक डॉ. निलेश रामचंद्र देवरे, मुख्यालय के वरिष्ठ अधिकारी, सभी सर्किल और डिवीजन के अधीक्षण एवं कार्यपालक अभियंता, तथा मीटरिंग एजेंसियों के प्रतिनिधि उपस्थित थे।
स्मार्ट प्रीपेड मीटर योजना का महत्व
बिजली कंपनी का मानना है कि स्मार्ट प्रीपेड मीटर लगाने से बिजली उपभोक्ताओं को बेहतर सेवाएं मिलेंगी और राजस्व संग्रह में सुधार होगा। खराब मीटरों को समय पर बदलने और उपभोक्ताओं को डिजिटल साधनों का अधिकाधिक उपयोग करने के लिए प्रेरित करने से बिजली आपूर्ति की प्रक्रिया अधिक कुशल और पारदर्शी होगी।
इस पहल का उद्देश्य उपभोक्ताओं की समस्याओं का त्वरित समाधान करना, राजस्व संग्रह में सुधार लाना और राज्य के बिजली वितरण तंत्र को और अधिक सशक्त बनाना है।