
पंजाब सरकार द्वारा नशे को जड़ से खत्म करने के लिए चलाए जा रहे ‘युद्ध नशों के विरुद्ध’ अभियान को और मज़बूती देने के लिए ज़मीनी स्तर पर काम तेज़ कर दिया गया है। इसी कड़ी में मालवा सेंट्रल ज़ोन के नशा मुक्ति मोर्चा के ज़ोनल कोऑर्डिनेटर सुखजीत सिंह ढिल्लवां ने फतेहगढ़ साहिब के जिला प्रशासनिक परिसर में डिप्टी कमिश्नर और अन्य अधिकारियों के साथ एक अहम बैठक की।
इस बैठक में नशा मुक्ति को लेकर किए जा रहे प्रयासों और आगे की रणनीति पर चर्चा की गई। सुखजीत सिंह ढिल्लवां ने बताया कि पंजाब सरकार नशे को खत्म करने के लिए केवल कानून का सहारा नहीं ले रही, बल्कि सामाजिक सहयोग से भी इस बुराई को खत्म करने की दिशा में काम कर रही है। इसी मकसद से ‘नशा मुक्ति मोर्चा’ का गठन किया गया है।
नशा मुक्ति मोर्चा के ज़रिए गांव-गांव और हर वार्ड में जाकर ऐसे युवाओं की पहचान की जाएगी जो नशे की चपेट में हैं। इसके बाद उन्हें नशा छोड़ने के लिए प्रेरित किया जाएगा और ज़रूरत पड़ने पर उपचार की सुविधा भी दी जाएगी। इसके लिए गांव स्तर पर विशेष समितियाँ बनाई जाएंगी जो स्थानीय स्तर पर निगरानी और सहयोग का काम करेंगी।
ढिल्लवां ने यह भी बताया कि यह अभियान सिर्फ प्रशासन की जिम्मेदारी नहीं है, बल्कि इसमें समाज के हर वर्ग को जुड़ना होगा। स्कूलों, कॉलेजों, धार्मिक स्थलों और समाजसेवी संस्थाओं की भी मदद ली जाएगी ताकि युवाओं को नशे से दूर किया जा सके और उन्हें सकारात्मक जीवन की ओर प्रेरित किया जाए।
इस प्रयास से पंजाब सरकार का लक्ष्य न सिर्फ नशे का इलाज करना है, बल्कि इसकी जड़ को ही खत्म करना है। गांवों में लोगों को जागरूक किया जाएगा, और नशे के खिलाफ एक मजबूत सामाजिक माहौल तैयार किया जाएगा।
पंजाब सरकार का यह कदम युवाओं को बचाने की दिशा में एक सराहनीय प्रयास है, जिससे भविष्य में एक स्वस्थ और नशामुक्त पंजाब की कल्पना साकार हो सकेगी।