उत्तर प्रदेश विधानसभा का मानसून सत्र सोमवार, 29 जुलाई से शुरू हो गया है। 30 जुलाई को मुख्यमंत्री Yogi Adityanath ने शिवपाल सिंह यादव को विपक्ष के नेता न बनाए जाने पर निशाना साधा। CM Yogi ने कहा कि उन्होंने विपक्ष के नेता को चुनने पर बधाई दी है, आखिरकार उन्होंने अपने चाचा के साथ धोखा किया। इस पर अखिलेश यादव ने पलटवार करते हुए कहा कि CM Yogi ने दिल्ली को धोखा दिया है।
शिवपाल यादव ने भी CM Yogi की टिप्पणी का जवाब दिया। उन्होंने कहा, “देखिए, हमें धोखा नहीं मिला है। पांडे जी बहुत सीनियर हैं। हम समाजवादी हैं। हमने आपके (स्पीकर सतीश महाना) तरफ से भी कभी कुर्सी की ओर इशारा किया था। मेरी कुर्सियां बार-बार बदलती रही हैं। मैं कहना चाहता हूँ कि मैंने आपसे तीन साल तक संपर्क बनाए रखा, इसलिए आपने भी मुझे धोखा दिया।” शिवपाल के इस बयान पर पूरा सदन हंस पड़ा। उन्होंने आगे कहा, “जब आपने धोखा दिया, तो आप पीछे हट गए और एसपी आगे बढ़ी। अब देखिए, 2027 में एसपी फिर से आगे आएगी और आपके डिप्टी सीएम आपको फिर से मूर्ख बनाएंगे।”
माता प्रसाद पांडे कौन हैं
मानसून सत्र शुरू होने से एक दिन पहले, 28 जुलाई को, समाजवादी पार्टी ने नए विपक्षी नेता के रूप में माता प्रसाद पांडे की घोषणा की। माता प्रसाद सातवीं बार सिद्धार्थनगर जिले के इटवा विधानसभा क्षेत्र से विधायक हैं। बता दें कि माता प्रसाद पांडे दो बार यूपी विधानसभा के अध्यक्ष रह चुके हैं। माता प्रसाद समाजवादी पार्टी के वरिष्ठ नेताओं में से एक हैं और वे दो बार एसपी सरकार में मंत्री भी रह चुके हैं। उन्होंने विधानसभा चुनावों में सात बार जीत दर्ज की है। माता प्रसाद ने पहली बार 1980 में विधानसभा चुनाव जीता था।