
एशिया में एक बार फिर धरती हिली है। म्यांमार से एक बड़ी खबर सामने आई है, जहां सिर्फ आधे घंटे के अंदर दो बार भूकंप के झटके महसूस किए गए। इससे पहले भी म्यांमार और थाईलैंड में कुछ महीने पहले एक बड़ा भूकंप आया था, जिसकी तीव्रता 7.8 थी और इसमें 3000 से ज्यादा लोगों की जान चली गई थी। तबाही के बाद से ही एशियाई देशों में बार-बार भूकंप आ रहे हैं, जिससे लोग डरे हुए हैं।
आज सुबह म्यांमार में दो बार भूकंप आया। पहला झटका सुबह 10:58 बजे महसूस किया गया, जिसकी तीव्रता 4.1 मापी गई। इस भूकंप का केंद्र धरती से 10 किलोमीटर नीचे था। इसके बाद ठीक 11:21 बजे दूसरा भूकंप आया, जिसकी तीव्रता 4.3 थी और इसका केंद्र धरती से 60 किलोमीटर गहराई में था।
हालांकि दोनों भूकंपों से कोई बड़ा नुकसान नहीं हुआ है। ना ही जान-माल का कोई नुकसान दर्ज किया गया है, लेकिन लगातार दो झटकों ने लोगों को डरा दिया है। लोग अपने घरों से बाहर निकल आए और खुले मैदानों में इकट्ठा हो गए। कई इलाकों में लोग काफी समय तक घरों में वापस नहीं लौटे क्योंकि उन्हें और झटकों का डर सता रहा था।
भूकंप का प्रभाव भारत के पूर्वोत्तर राज्य मणिपुर तक भी महसूस किया गया, क्योंकि म्यांमार की सीमा मणिपुर से सटी हुई है। हालांकि भारत में झटके बहुत हल्के रहे और किसी नुकसान की सूचना नहीं है।
विशेषज्ञों के अनुसार, यह इलाका भूकंप संभावित क्षेत्र (Seismic Zone) में आता है, जहां अक्सर हल्के या मध्यम भूकंप आते रहते हैं। वैज्ञानिकों का कहना है कि धरती की अंदरूनी प्लेटों की हलचल ही बार-बार भूकंप का कारण बन रही है। वे लोगों से सतर्क रहने और भूकंप के समय अपनाई जाने वाली सुरक्षा सावधानियों को अपनाने की सलाह दे रहे हैं।
लोगों के बीच अभी भी डर का माहौल बना हुआ है, खासकर उन इलाकों में जो पहले ही बड़े भूकंप का सामना कर चुके हैं। विशेषज्ञों की टीम भूकंप के असर और इसके कारणों का विश्लेषण कर रही है।
इस घटना ने एक बार फिर से यह याद दिलाया है कि भूकंप जैसी प्राकृतिक आपदाओं के सामने मानव कितना असहाय हो सकता है। ऐसे में जरूरी है कि सरकारें और आम लोग भूकंप से निपटने की तैयारी पहले से करके रखें, ताकि समय आने पर जान-माल का नुकसान कम से कम हो सके।